बिहार : सोशल मीडिया पर अपनी अलग पहचान रखने वोले खान सर के ट्विटर हैंडल ख़ान ग्लोबल स्टडी पर फ़ेक पोस्ट कर छात्रो को दिग्भ्रमित करने के आरोप में FIR दर्ज किया गया है. पटना पुलिस ने खान सर के स्टेटस को लेकर पूरी जानकारी दी है एसडीपीओ सचिवालय के डॉ कुमार ने पुष्टि की है कि खान सर की कोई गिरफ़्तारी नहीं हुई है. खान सर को कल गर्दनीबाग पुलिस ने अटल पथ पर ख़ान सर के आग्रह पर उनके गाड़ी के पास छोड़ दिया था एफआईआर के बाद ऐसी चर्चा होने लगी थी कि खान सर को गिरफ्तार कर लिया गया है.
#BreakingNews: खान सर के X हैंडल के खिलाफ FIR दर्ज, खान सर की गिरफ्तारी पर भ्रामक पोस्ट वायरल #Bihar #KhanSir #FIR #police #IndiaDaily @pal_sehgal93 pic.twitter.com/amlLV94RIK
— India Daily Live (@IndiaDLive) December 7, 2024
छह दिसंबर को बिहार में 70वीं BPSC की प्रारंभिक परीक्षा के नियम में बदलाव को लेकर छात्रों के साथ प्रदर्शन कर रहे चर्चित टीचर खान सर को पुलिस ने हिरासत में लेने की खबर आई थी. 13 दिसंबर को होने वाली BPSC की प्रारंभिक परीक्षा के नियम में बदलाव को लेकर राजधानी पटना में बीपीएससी दफ्तर के बाहर सैकड़ों की संख्या में अभ्यर्थी उग्र प्रदर्शन कर रहे हैं. शुक्रवार को दिन में पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे छात्रों पर लाठीचार्ज भी किया था. सूचना मिली थी कि देर शाम में छात्रों के साथ प्रदर्शन करने के बाद पुलिस ने खान सर को हिरासत में लेकर थाने ले आई थी. हालांकि थाने के गेट के बाहर बड़ी संख्या में छात्र इकट्ठे हो गए और उन्हें छोड़ने की मांग को लेकर नारेबाजी करने लगे. बताया जा रहा है कि छात्रों के जुटने के बाद पुलिस ने उन्हें छोड़ दिया.
@PatnaPolice24x7 ने साफ किया है कि चर्चित शिक्षक खान सर की गिरफ्तारी की खबर पूरी तरह झूठी है।
सोशल मीडिया पर वायरल हो रही इस अफवाह का खंडन करते हुए पुलिस ने कहा कि ऐसी कोई कार्रवाई नहीं हुई है।#BPSC #BPSC_70th #bpsc70th pic.twitter.com/hNE5l883lT
— Abhishek Bihari 🇮🇳 (@Abhibiharix) December 7, 2024
हालांकि अभ्यर्थियों के आंदोलन को देखते हुए बिहार लोक सेवा आयोग ने परीक्षा को लेकर स्पष्टीकरण भी जारी किया. आयोग की तरफ से कहा गया है कि 13 दिसंबर (शुक्रवार) को आयोजित की जाने वाली प्रतियोगिता परीक्षा में Normalization प्रक्रिया अपनाये जाने संबंधित भ्रामक ख़बरें विभिन्न सोशल मिडिया प्लेटफार्म पर चलायी जा रही है. आयोग इससे हतप्रभ है कि Normalization की प्रक्रिया अपनाये जाने संबंधी भ्रामक खबर कैसे उत्पन्न हुई जबकि Normalization अपनाये जाने के संबंध में कोई प्रस्ताव ही नहीं था. आयोग द्वारा इस परीक्षा में Normalization प्रक्रिया अपनाये जाने संबंधी काल्पनिक अफवाह कोचिंग संचालकों और स्थानीय छात्र नेताओं द्वारा अभ्यर्थियों को दिग्भ्रमित करने के उद्देश्य से फैलाया गया है. इस संबंध में साफ करना है कि 70वीं BPSC की प्रारंभिक परीक्षा के लिए प्रकाशित विज्ञापन के किसी खंड में इस परीक्षा के लिए Normalization अपनाने का उल्लेख नहीं किया गया है और न ही उसके बाद आयोग स्तर से परीक्षा Normalization प्रक्रिया से कराने की सूचना प्रकाशित की गई है.