बांदा : उत्तर प्रदेश के बांदा में रक्षाबंधन के दिन दर्दनाक हादसा हो गया। बांदा से फतेहपुर जा रही नाव यमुना नदी में डूब गई। रक्षाबंधन पर भाइयों को राखी बांधने रहीं महिलाओं से भरी नाव यमुना नदी की बीच धारा में पलट गई। नाव में 50 लोग सवार थे। इसमें 32 लोग लापता बताए जा रहे हैं। 15 लोग तैरकर बाहर आ गए। वहीं, तीन शव बरामद हुए हैं। जानकारी के अनुसार, गुरुवार को दोहपर 3:10 बजे 3.10 बजे मर्का थाना क्षेत्र के कस्बे से फतेहपुर के असोथर जा रही नाव का यमुना नदी के बीच धार में पहुंची तो पतवार टूट गई। इससे नाव डगमगाने लगी। इसी बीच कई यात्री नाव से कूद पड़े। इससे पलट कर नदी में डूब गई। नाव में तीन बाइकें और छह साइकिलें भी रखी थीं। SDRF की 11 लोगों की टीम मौके पर है। एक प्लाटून PAC भेजी गई है। रात 11 बजे NDRF की टीम भी पहुंची गई। SDRF और NDRF ने मिलकर रात में ही सर्च अभियान चलाया।
वहीं प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि नाव पर ज्यादातर महिलाएं सवार थीं। रक्षाबंधन पर्व पर समगरा गांव से महिलाएं व लोग मर्का घाट पहुंचे थे। नाव पर तीन बाइक और छह साइकिलें रखी थीं। यमुना नदी में बीच धारा में पहुंचते ही नाव असंतुलित होकर पलट गई। हादसे में 10 से अधिक लोगों की मौत हो सकती है। नाव पर 20 लोगों के बैठने की क्षमता थी। जानकारी मिलते ही आसपास के लोगों की भारी भीड़ जमा हो गई। नाव में सवार लोगों के परिजन भी आ गए। अपनों के लापता होने की जानकारी मिलते कोहराम मच गया। वहीं नाव पलटने की घटना पर राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू ने दुख जताया है। उन्होंने अपनों को खोने वाले शोक-संतप्त परिवारों के प्रति शोक संवेदना जताई। यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हादसे पर दुख जताया है। मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारी, DIG, NDRF और SDRF की टीम को तत्काल मौके पर जाने के निर्देश दिए। मौके पर पहुंचे SP अभिनंदन ने बताया, एक पुरुष, एक महिला और एक साल के बच्चे का शव मिला है।
नाव बीच धार में पहुंचते ही पलटी
रक्षाबंधन पर समगरा गांव से महिलाएं और अन्य लोग मरका घाट पर पहुंचे थे। यमुना नदी पार करके फतेहपुर जिले के असोथर घाट जाने के लिए नाव पर 35 लोग सवार हुए थे। यमुना नदी में बीच धारा में पहुंचते ही नाव बैलेंस बिगड़ गया और वह पलट गई।
बीच धारा में बह गए लोग
हादसे में बचे एक प्रत्यक्षदर्शी ने बताया, ‘हम अपने गांव से पत्नी को लेकर ससुराल खागा राखी बंधवाने के लिए जा रहे थे। जब हम नदी के किनारे पहुंचे तो सिर्फ एक ही नाव थी। दोपहर तीन बजे का समय था नदी पार जाने वालों की भीड़ ज्यादा थी। बीच धारा में नाव पहुंचते ही डगमगाने लगी। देखते देखते नाव में करीब 50 लोग सवार हो गए और कुछ बाइक भी नाव पर रख दी गईं।’ उन्होंने बताया, ‘नाव जब बीच नदी में पहुंची तो हिचकोले खाने लगी। लोग डर गए और इधर-उधर खिसकने लगे। इसी बीच एक तरफ लोगों की संख्या ज्यादा हो गई और नाव एक दम से पलट गई। कुछ लोग तो तैरने लगे, लेकिन महिलाएं और बच्चे डूबने लगे। बीच धार में लोग बहते चले जा रहे थे। इसी बीच पास में आई एक दो नाव ने कुछ लोगों को खींचना शुरू कर दिया। इसी में मैं भी एक नाव पर चढ़ गया। लेकिन कई महिलाएं और बच्चे बह गए।’
200 मीटर की दूरी पर बरामद किए शव
गोताखोरों ने तीनों शव घटनास्थल से 200 मीटर की दूरी पर नदी किनारे से बरामद किए हैं। इसके अलावा 32 यात्री अभी लापता हैं। गोताखोरों को लापता लोगों की तलाश में लगाया गया है। जिलाधिकारी अनुराग पटेल ने बताया कि एसडीआरएफ की प्रयागराज व लखनऊ से टीमें बुलाई गई हैं।
ये लोग तैर कर निकले
असोथर निवासी अजनेश (22), समगरा निवासी गया प्रसाद (15), राजकरन (18), राजकरन (23), मर्का निवासी बाबू (21), केपी यादव (35), दीपक (23), मिर्जापुर गांव के सरोज का डेरा निवासी रामप्रतीक (18), दुर्गेश (22), शोभा (22) पत्नी पीतांबर, (22), बृजरानी (18) पत्नी रामकरन, गुडवारिन निवासी किरन (21), मर्का निवासी बृजकिशोर (28) व पत्नी गीता देवी मर्का निवासी शंकर दयाल (24) ने तैरकर जान बचा ली।
तीन मौतों की हुई पुष्टि
फुलवा (45) निवासी सावला डेरा जरौरी जिला फतेहपुर।
किशन (1) पुत्र दिनेश यादव, निवासी मर्का।
राजरानी (40) निवासी कउहन जिला फतेहपुर।