निकाह के बाद महादेव मंदिर पहुंचीं फातिमा भुट्टो, भगवान शिव को चढ़ाया जल, भड़क गए कट्टरपंथी

अंतरराष्ट्रीय

पाकिस्तान के दिवगंत पूर्व प्रधानमंत्री जुल्फिकार अली भुट्टो की पोती और और बेनजीर भुट्टो की भतीजी फातिमा भुट्टो का कराची में निकाह हुआ। राजनीतिक सुर्खियों से बाहर रहने वाली फातिमा भुट्टो ने ग्राहम जिब्रान से निकाह के बाद वह कराची में महादेव मंदिर के दर्शन करने पहुंची। जिसकी फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है। वायरल हो रही फोटो पर कुछ लोग उनकी तरफ कर रहे हैं तो वहीं कुछ लोगों ने सवाल किया।

निकाह के बाद महादेव मंदिर पहुंचीं फातिमा भुट्टो
मुर्तजा भुट्टो की बेटी और पेशे से लेखक, कॉलमिस्ट फातिमा भुट्टो ने शुक्रवार को ग्राहम (जिब्रान) के साथ कराची में दादा जुल्फिकार अली भु्ट्टो के पुस्तकालय में सादगी से निकाह किया। मीडिया में आईं खबरों के अनुसार फातिमा के पति ग्राहम ईसाई हैं और अमेरिकी नागरिक हैं। निकाह के बाद फातिमा भुट्टो पति के साथ कराची के ऐतिहासिक महादेव मंदिर में दर्शन करने पहुंचीं। जहां उन्होंने विधिवत पूजा-अर्चना के साथ महादेव की शिवलिंग पर दूध भी अर्पित किया।

फातिमा भुट्टो के वायरल फोटो पर लोगों के रिएक्शन
@aniljidaga नाम के एक यूजर ने लिखा,’जुल्फिकार अली भुट्टो की पोती का महादेव के मंदिर में पूजा करना कट्टरपंथियों को रास नहीं आया होगा। @TukTuk72359928 नाम के एक यूजर ने कहा कि कुछ दिन पहले जम्मू कश्मीर की महबूबा ने भी शिवलिंग पर जलाभिषेक किया था। महादेव से अपने पापों को क्षमा करने की विनती की थी। सबको अब सबकुछ समझ में आने लगा है। @ArvindVishwak10 नाम के एक यूजर द्वारा कमेंट किया गया- फातिमा भुट्टो और इनके जैसे कुछ मुस्लिमों को एहसास हो गया है कि भारत और पाकिस्तान के सभी मुस्लिम मूलरूप से हिन्दू हीं है।

वहीं, फातिमा भुट्टो का मंदिर जाना कुछ पाकिस्तानी कट्टरपंथियों को रास नहीं आया। सोशल मीडिया पर कुछ पाकस्तानी लोगों ने कहा कि इस देश में अब क्या हो रहा है। ऐसे तो कुछ दिन बाद सऊदी अरब में गीता पढ़ाई जाएगी। ये तो त्रासदी और अभिशाप है। कुछ लोगों ने इसका विरोध करते हुए यहां तक लिखा कि मुस्लिम होने के बावजूद वह मंदिर गईं, उन्हें ऐसा बिलकुल नहीं करना चाहिए था।

जानकारी के लिए बता दें कि इस निकाह कार्यक्रम में शामिल होने के लिए कई नामचीन व्यक्तियों के साथ कुछ हिन्दू नेता भी पहुंचे थे लेकिन फातिमा के भाई और पाकिस्तान के विदेश मंत्री विलावल भुट्टों इस निकाह में शरीक नहीं हुए। यहां पर आपको बता दें कि जुल्फिकार अली भुट्टो को सैन्य तख्तापलट के बाद अप्रैल 1979 में तत्कालीन सैन्य तानाशाह जिया उल हक ने फांसी पर चढ़वा दिया था। जुल्फिकार की सबसे बड़ी बेटी बेनजीर भुट्टो की दिसंबर 2007 में रावलपिंडी में हत्या कर दी गई थी। सितंबर 1996 में क्लिफ्टन में बेनजीर के भाई मुर्तजा भुट्टो की भी हत्या कर दी गई थी।