सुरी : ऐसे समय जब इलाज दिन-प्रतिदिन महंगा हो रहा है, बंगाल में एक डॉक्टर केवल एक रुपये में मरीजों का इलाज कर रहा था. डॉक्टर सुशोवन बंधोपाध्याय को इस कारण “एक रुपया डॉक्टर” के नाम से ही जाना जाता था. अपने सस्ते इलाज के कारण मरीजों के बीच बेहद लोकप्रिय डॉक्टर बंधोपाध्याय का मंगलवार को कोलकाता के अस्पताल में निधन हो गया. वे 84 वर्ष के थे. डॉ. बंधोपाध्याय पिछले दो वर्षों से किडनी से जुड़ी समस्याओं से जूझ रहे थे. डॉक्टर और राजनेता सुशोवन ने करीब 60 सालों तक मरीजों का इलाज किया. खास बात यह थी कि वे केवल एक रुपये में मरीजों का इलाज करते थे.
चिकित्सा के क्षेत्र में अहम योगदान के लिए उन्हें वर्ष 2020 में पद्मश्री से नवाजा गया था. इसी वर्ष सबसे अधिक संख्या में मरीजों के इलाज के लिए उनका नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में दर्ज किया था. वे बोलपुर सीट से पूर्व विधायक रहे, उन्होंने कांग्रेस के टिकट पर 1984 में चुनाव लड़ा था. वे तृणमूल कांग्रेस के सदस्य भी रहे और बीरभूम जिला अध्यक्ष रहे लेकिन बाद में उन्होंने पार्टी छोड़ दी थी.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने डॉ. बंधोपाध्याय के निधन पर शोक व्यक्त किया. पीएम मोदी ने ट्वीट किया, “डॉक्टर सुशोवन बंधोपाध्याय सर्वश्रेष्ठ मानवीय भावना से ओतप्रोत थे. उन्हें एक दयालु और बड़े दिल वाले शख्स के रूप में याद किया जाएगा जिन्होंने कई लोगों का इलाज किया.” पीएम ने लिखा, “मुझे पद्म पुरस्कार समारोह मेंउनके साथ हुई बातचीत याद है. उनके निधन से दुखी हूं. उनके परिवार और प्रशंसकों के प्रति संवेदना. ओम शांति.” ममता बनर्जी ने लिखा, “परोपकारी डॉक्टर सुशोवन बंधोपाध्याय के निधन के बारे में जानकर दुख हुआ. ”