बिलासपुर के ATR में बाघिन AKT-13 की मौत, गले पर नुकीली चीज से वार के निशान, शिकार की आशंका

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छत्तीसगढ़ के अचानकमार टाइगर रिजर्व एरिया (ATR) की बाघिन AKT-13 की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई है। गले में नुकीली चीज से वार के निशान मिले हैं। जिससे बाघिन की शिकार की आशंका है। यह घटना दो दिन पहले हुई थी, लेकिन वन विभाग के अधिकारियों को इसकी जानकारी आज मिली। बाघ का शव लमनी रेंज के पास पाया गया है। मृत्यु के कारणों का अभी तक पता नहीं चल सका है। प्रारंभिक जांच में शव दो से तीन दिन पुराना प्रतीत हो रहा है।

छत्तीसगढ़ में बाघों की संख्या में लगातार गिरावट देखी जा रही है। जहां पड़ोसी राज्य मध्यप्रदेश को ‘टाइगर स्टेट’ का दर्जा प्राप्त है, वहीं छत्तीसगढ़ में बाघों की संख्या में कमी चिंता का विषय बनी हुई है। 2014 में नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथॉरिटी के अनुसार, राज्य में 46 बाघ थे, जो 2018 में घटकर केवल 19 रह गए। 2022 के टाइगर सेंसस के अनुसार, इस अचानकमार रिजर्व में बाघों की संख्या केवल 5 थी। हालांकि 2024 में हुई नई गणना के अनुसार, बाघों की संख्या बढ़कर 10 हो गई है, जिसमें 3 बाघ और 7 बाघिन शामिल किए गए थे। बाघों की इस घटती संख्या के मद्देनजर, राज्य सरकार ने मध्यप्रदेश से तीन बाघों को लाने का निर्णय लिया है, ताकि राज्य में बाघों की आबादी को बढ़ाया जा सके। हालांकि, पिछले कुछ वर्षों में राज्य के विभिन्न क्षेत्रों में बाघों के शिकार की घटनाएं सामने आती रही हैं। वन विभाग ने शिकारियों को पकड़ने में सफलता हासिल की है, लेकिन बाघों की संख्या बढ़ाने के लिए पर्याप्त प्रयास नहीं किए गए हैं। यहां तक कि जिन क्षेत्रों से गांवों को विस्थापित किया गया था, उन्हें भी बाघों के अनुकूल विकसित नहीं किया जा सका है।