GST विभाग की बड़ी कार्रवाई.. करोड़ों की टैक्स चोरी में गुटखा कारोबारी गिरफ्तार, शहर बदलकर कर रहा था कारोबार

छत्तीसगढ़ राज्य कर (जीएसटी) विभाग ने अवैध गुटखा निर्माण और कर चोरी के मामले में आरोपी गुरुमुख जुमनानी को गिरफ्तार कर लिया. जुमनानी पर 10 करोड़ से अधिक की जीएसटी चोरी का आरोप है, जबकि विभागीय जांच में यह राशि 100 करोड़ तक पहुंच सकती है. यह कार्रवाई की वजह से गुटखा उद्योग के साथ-साथ पूरे प्रदेश में हड़कंप मचा है. जानकारी के अनुसार, जुमनानी बिना जीएसटी पंजीकरण के वर्षों से सितारा ब्रांड के नाम से गुटखा बनाकर कर चोरी कर रहे थे. विभाग ने 25 और 27 जून 2025 को दुर्ग एवं राजनांदगांव स्थित उनके कारखानों में छापेमारी की, जहां 15 मशीनों से गुटखा निर्माण पाया गया. छापे में दो करोड़ से अधिक मूल्य का कच्चा माल बरामद हुआ. इसके बाद समन जारी करने के बावजूद जुमनानी दो माह तक पेश नहीं हुए.

जांच से पता चला कि जुमनानी ने अप्रैल 2021 से सितंबर 2022 तक भान ममदी (राजनांदगांव) और टेकपारी (रायपुर) में संचालन किया. 13 सितंबर 2022 को मंसूरवासी फैक्ट्री को सील करने के बाद जुलाई 2023 से मार्च 2024 तक पाटन (दुर्ग) और मार्च 2024 से जून 2025 तक हॉस्पिटल जोरा (रायपुर) एवं गोगांव में कारोबार जारी रखा. हर कुछ महीनों में स्थान बदलकर सरकारी एजेंसियों से बचने की रणनीति अपनाई गई. विभाग के अनुसार, जुमनानी के बेटे सागर के नाम से कोनारी (दुर्ग) में कोमल ट्रेड के तहत सुपारी गोदाम चलाया जाता था, जहां सुपारी को गुटखा निर्माण के लिए रखा जाता लेकिन विक्रय दिखाकर चोरी की जाती. सुपारी पर 5% जीएसटी जबकि गुटखा पर 28% + 204% (पानमसाला केस में) सेस लागू होता है. फरवरी-मार्च 2024 में दुर्ग-राजनांदगांव छापे में कच्चा माल जब्त कर 50 करोड़ का टैक्स-पेनल्टी आकलन किया गया. छह माह पूर्व खाद्य विभाग ने दुर्ग में 1.5 करोड़ का गुटखा जप्त किया था. स्टेट जीएसटी के अफसरों के अनुसार, गुरुमुख कार्रवाई से बचने हर तीन महीने में गुटखा बनाने की फैक्ट्री का स्थान बदल देता था। दो वर्ष पूर्व रायपुर में कार्रवाई के बाद वह दुर्ग के नंदनी तथा राजनांदगांव में अवैध गुटखा फैक्ट्री संचालित कर रहा था। अफसरों के अनुसार फैक्ट्री का संचालन वह कारोबारी दिन की जगह रात में करवाता था।

जीएसटी की जांच में जो बातें सामने आई हैं, उसके मुताबिक गुरुमुख रोजाना 25 लाख रुपए के गुटखा का कारोबार करता था। इस तरह से उसके द्वारा प्रतिमाह साढ़े सात करोड़ रुपए के गुटखा का बिजनेस किया जा रहा था। गुटखा फैक्ट्री संचालित करने कारोबारी स्थानीय की जगह मध्यप्रदेश से मजदूर बुलाकर काम करवाता था। काम करने आए मजदूरों को फैक्ट्री से बाहर जाने की अनुमति नहीं होती थी। स्टेट जीएसटी के आरोपों के मुताबिक कारोबारी मजदूरों को बंधक बनाकर काम करवाता था।

विभाग ने जुमनानी को न्यायिक हिरासत में भेज दिया है. जीएसटी आयुक्त ने कहा कि यह कार्रवाई कर चोरी रोकने की मुहिम का हिस्सा है, जिसमें हाल ही में गुटखा फैक्टरियों पर सख्ती बढ़ाई गई.

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